कोशिश करने वालों की कभी हार नहीं होती है (Motivational Story In Hindi)
हेलो दोस्तों समरीन इंस्टिट्यूट में आपका बहुत-बहुत स्वागत है आज हम आपको बताएँगे कि कोशिश करने वालों की कभी हार नहीं होती है किस तरीके से हमें मेहनत करनी चाहिए इसके बारे में आजके इस आर्टिकल में हम आपको बताने वाले हैं इसीलिए आर्टिकल को पूरा ज़रूर पढ़ें ताकि आपको सही तरीके से समझ में आ सके तो चलिए शुरू करते हैं ।
(प्रेरक कहानी) Motivational Story
आपने अपने जीवन में बहुत सी कहानियां सुनी तो होगी और उन कहानियों को सुनकर आपको बहुत ज्यादा अच्छा महसूस हुआ होगा । पर जब बात मोटिवेशनल स्टोरी की आती है तो सबको मोटिवेशन स्टोरी सुनना अच्छा लगता है इसलिए आज हम आपको एक मोटिवेशनल स्टोरी के बारे में बताएंगे । जिससे आपके जीवन में कुछ ना कुछ बदलाव होगा और आप अपने गोल को पूरा कर पाएंगे । मोटिवेशनल स्टोरी एक बहुत ही अच्छा काम करती है अगर आप किसी काम को करते करते थक जाते हैं और आपका काम आगे करने का मन नहीं करता पर जब आपको कहीं से मोटिवेशन स्टोरी सुनने को मिलती है तो आपके अंदर एक ज्वाला सी जग जाती है और आप उस काम को अच्छे ढंग से करते हैं इसलिए साइंटिस्ट का भी दावा है कि हमें मोटिवेशन स्टोरी सुननी चाहिए । आपको हमारी हेडिंग को देखकर समझ में आ ही गया होगा कि आज हम किस टॉपिक पर एक स्टोरी सुनाएंगे ।
एक आदि नाम का लड़का था जिसको पढ़ने का बिल्कुल भी शौक नहीं था वह सारी क्लास चीटिंग करके ही पास करता था उसका पढ़ाई में बिल्कुल भी मन नहीं लगता था । उसके मम्मी पापा उससे बहुत परेशान थे क्योंकि पढ़ाई के बिना आगे फ्यूचर नहीं सेलेक्ट किया जा सकता इसलिए उसके मम्मी पापा उसे कहते रहते थे कि पढ़ाई पर ध्यान दो पर उसका मन बिल्कुल भी पढ़ाई पर नहीं लगता था । अब उसने कैसे ना कैसे करके वह 10वीं क्लास में आ गया । पर अब उसकी मम्मी को और ज्यादा चिंता सताने लगी थी क्योंकि दसवीं क्लास कोई आम क्लास नहीं होती इसलिए उसकी मम्मी अब उससे ज्यादा पढ़ाई पर फोकस करने के लिए कहती थी परंतु आदि का मन अभी भी पढ़ाई में नहीं लगता था क्योंकि वह एक बहुत ही कमजोर बच्चा था उसको जल्दी समझ नहीं आता था । एक दिन उसकी मम्मी ने उससे कहा कि तुम्हें मेरी कसम है अगर तुम ने अपना हंड्रेड परसेंट एग्जाम में नहीं दिया तो चाहे तुम कैसे भी मार्क्स लाओ पर तुम्हें अपना 100% देना है । जब आदि ने अपनी मम्मी की कसम को सुना तो उसका दिल दहल गया और उसने अपनी मम्मी से कहा कि मैं अपना 100 परसेंट दूंगा पर मुझे नहीं पता कि मेरे मार्क्स कैसे आएंगे ।
फिर अगले दिन से आदि ने मेहनत करना स्टार्ट कर दिया और उसने पूरी कोशिश की कि वह दसवीं की परीक्षा में बहुत अच्छे नंबर प्राप्त कर पाए । आदि एक slow लर्निंग बच्चा था उसे जल्दी से समझ में नहीं आता था । उसको डाउट बहुत ज्यादा होते थे पर जब वह अपने छोटे छोटे डाउट को टीचर से पूछता तो उसकी टीचर भी उसको डांट दिया करती थी और स्कूल के बच्चे भी उसे बहुत चिड़ाया करते थे क्योंकि आदि बहुत छोटे-छोटे डाउट पूछता था । परंतु आदि ने अपने डाउट को पूछना बंद नहीं किया और वह बेझिझक अपने डाउट्स को टीचर से पूछने लगा उसने दिन रात मेहनत की ।
फिर जब दसवीं की परीक्षा पास आई तो उसने और भी दिल लगाकर मेहनत करना स्टार्ट कर दिया और उसने बहुत अच्छी परीक्षा दी । जब उसका रिजल्ट आया तो पूरा स्कूल उसके रिजल्ट से हैरान था क्योंकि जो बच्चा बिल्कुल भी नहीं पड़ता था उसने दसवीं की परीक्षा में 3rd नंबर पर रैंक किया था जो कि उसके लिए बहुत बड़ी बात थी । यह सुनकर आदि बहुत खुश हुआ और उसने यह बात अपने घर पर बताई कि उसने 3rd नंबर पर रैंक किया है ।
इसलिए कहते हैं कि हमें कभी भी हार नहीं माननी चाहिए अगर हम कभी हार मान के पीछे हट जाते हैं तो हम कभी भी अपनी सफलता को छू नहीं सकते इसलिए हमें कभी भी अपने कदम पीछे नहीं बढ़ाने चाहिए आशा है कि यह आपको स्टोरी अच्छी लगी होगी और आप इस स्टोरी को अपने जीवन पर भी लागू करेंगे ।
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